आगरा : ताजनगरी आगरा में गुरुवार को बकरीद का पर्व मनाया गया। इस मौके पर मुस्लिम समाज के लोगों ने एक से बढ़कर एक कीमती बकरों की कुर्बानी दी। लेकिन, मोहब्बत की निशानी वाली इस नगरी में पर्व मनाने के अंदाज को लेकर एक परिवार काफी चर्चा में है। दरअसल, यह परिवार खुद तो कभी किसी जानवर की हत्या करता नहीं है, साथ ही अन्य लोगों को भी कुर्बानी के नाम पर बेजुबानों की हत्या न करने के लिए प्रेरित करता है। इस परिवार ने बकरे के चित्र वाला केक काटकर बकरीद पर्व मनाता आ रहा है। इस बार भी इसी तरह केक काटकर पर्व मनाया।
हम बात कर रहे हैं शाहगंज क्षेत्र के आजमपारा, शेरवानी मार्ग, तिरंगा मंजिल निवासी नवाबगुल चमन शेरवानी के परिवार की। यह परिवार पिछले छह वर्षों से बकरीद पर बकरे के चित्र वाला केक काटकर इसे ही कुर्बानी मान लेता है। पूरा परिवार इस तरह पर्व मनाने से काफी प्रसन्न भी रहता है। चमन शेरवानी पहली बार राष्ट्रीयगीत वंदे मातरम तथा तिरंगा प्रेम के चलते सुर्खियों में आए थे।